मेरा नाम सुरेश मकवाना है और मुझे लिखना और अच्छी अच्छी बाते शेयर करने का अच्छा लगता है इसलिए मेरा यह शोक में इस ब्लॉग के माध्य्म से पूरा करुगा।
Thursday, 30 June 2016
Wednesday, 29 June 2016
विराट कोहली की दीवानगी (Virat Kholi Diwangi In Hindi)
भारतीय क्रिकेट टीम के सुपरस्टार बेस्टमैन विराट कोहली से पूरी दुनिया परिचित है उनका परिचय देने की जरूरत नहीं है आज वे भारतीय टीम के स्टार बल्लेबाज है। आज कोहली जिनते मशहूर है आज उनके प्रति लोगो का जितना प्यार है और जितना शानदार तरिके से वे खेलते है इन सबके पीछे सबसे बड़ा हाथ उनकी क्रिकेट के प्रति दीवानगी का है। उनकी कई वर्षो की मेहनत और लगन का नतीजा आज उनके सामने निकलकर आया है। और आज वे सुपरस्टार बल्लेबाज है। क्रिकेट के प्रति दीवानगी तथा समर्पण विराट का कितना है यह अंदाजा आप इस घटना से लगा सकते हो।
कोहली कैरियर की शुरुआत में एक रणजी ट्रॉफी मैच दिल्ली में कर्नाटक के खिलाफ खेल रहे थे। मैच के दौरान उन्हें खबर मिली की उनके पिता जी की मृत्यु हो चुकी है फिर भी उनका क्रिकेट के प्रति इतना समर्पण भाव था की वे अपनी बल्लेबाजी पूरी करने के बाद ही उस मेदान से बाहर गए। कोहली से एक जबरदस्त सीख हमे मिलती है कि हम जीवन में जो कुछ हासिल करना चाहते है जो कुछ बनना चाहते है तो उसके प्रति हमारा पूर्ण समर्पण होना चाहिए तभी हम भी विराट कोहली की तरह अपनी मंजिल तक पहुंच सकेंगे और अपने परिवार के सपनो को पूरा कर सकेंगे।
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असफलता नाम की बीमारी को दूर करने की दवाई
Confidence and Hard work is the best
medicine to kill the disease called failure
It will make you successful person
A.P.J. Abdual Kalam
असफलता नाम की बीमारी को दूर करने की
सर्वोत्तम दवाई है आत्मविश्वास और कठिन परिश्रम।
यह दवाई इंसान को सफल बनाती है।
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A.P.J. Abdual Kalam
असफलता नाम की बीमारी को दूर करने की
सर्वोत्तम दवाई है आत्मविश्वास और कठिन परिश्रम।
यह दवाई इंसान को सफल बनाती है।
सम्मान पद से नहीं बल्कि अपने स्वभाव से मिलता है।
एक बार सिकंदर किसे कारण से अपने सेनापति से नाराज हो गया। उसने उसे सूबेदार बना दिया। सिकंदर ने सोचा कि इतने छोटे पद पर आने से उसका सेनापति अपमानित महसूस करेगा और घुट- घुटकर मर जायेगा।
एक दिन उसने सेनापति को बुलवाया। ताकि यह देख सके कि उसकी क्या हालत है। सिकंदर उसे खुश देखकर हैरान रह गया। उसने उसे पूछा, तुम इतना खुश कैसे दिखाई दे रहे हो ? सेनापति से बनने का तुम्हे कोई दुःख नहीं है ? सेनापति ने कहा, 'बिल्कुल नहीं। पहले जब में सेनापति था, तो सैनिक मुझसे बात करने से कतराते थे। में भी अपने पद की मर्यादा का ध्यान रखकर उनसे बात करने से कतराता था। पर अब तो कोई संकोच रहा ही नहीं। अब मै उनसे खुलकर बात करता हु वे भी मुझसे एकदम सहज रहते है , वे अब भी मेरा सम्मान करते है , और हम एक-दूसरे की सेवा में लगे रहते है। में समझ गया कि सम्मान पद से नहीं बल्कि अपने स्वभाव से मिलता है। जिसमे थोड़ी भी मानवीयता होगी उसे सारी दुनिया आदर देगी। दुःख तो उन्हें होता है , जो पद के अभिमानी होते है। सिकंदर इस जवाब से बेहद प्रभावित हुआ। उसने उसे फिर से अपना सेनापति बना लिया।
एक दिन उसने सेनापति को बुलवाया। ताकि यह देख सके कि उसकी क्या हालत है। सिकंदर उसे खुश देखकर हैरान रह गया। उसने उसे पूछा, तुम इतना खुश कैसे दिखाई दे रहे हो ? सेनापति से बनने का तुम्हे कोई दुःख नहीं है ? सेनापति ने कहा, 'बिल्कुल नहीं। पहले जब में सेनापति था, तो सैनिक मुझसे बात करने से कतराते थे। में भी अपने पद की मर्यादा का ध्यान रखकर उनसे बात करने से कतराता था। पर अब तो कोई संकोच रहा ही नहीं। अब मै उनसे खुलकर बात करता हु वे भी मुझसे एकदम सहज रहते है , वे अब भी मेरा सम्मान करते है , और हम एक-दूसरे की सेवा में लगे रहते है। में समझ गया कि सम्मान पद से नहीं बल्कि अपने स्वभाव से मिलता है। जिसमे थोड़ी भी मानवीयता होगी उसे सारी दुनिया आदर देगी। दुःख तो उन्हें होता है , जो पद के अभिमानी होते है। सिकंदर इस जवाब से बेहद प्रभावित हुआ। उसने उसे फिर से अपना सेनापति बना लिया।
Tuesday, 28 June 2016
अपना रास्ता खुद चुनिये
भीड़ हमेशा उस रास्ते पर चलती है जो रास्ता आसान लगता है , लेकिन इसका मतलब यह नहीं की भीड़ हमेशा सही रास्ते पर ही चलती है , अपना रास्ता खुद चुनिये क्योकि आपको आपसे बेहतर और कोई नहीं जानता।
मार्ग
किसी दिन , जब आपके सामने कोई समस्या न आये तो आप सुनिश्चित हो सकते है कि आप गलत मार्ग पर चल रहे है।
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